सुरेश वाडकर

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Wednesday, July 6, 2016

इस मंदिर में तस्कर चढ़ाते हैं करोड़ों की अफीम

इस मंदिर में तस्कर चढ़ाते हैं करोड़ों की  अफीम
  चित्तौड़गढ़।राजस्थान के चित्तौड़गढ़ में एक ऐसा मंदिर है, जहां चढ़ावे में लड्‌डू या प्रसाद नहीं बल्कि अफीम आती है। यह अफीम कोई और नहीं, बल्कि तस्कर चढ़ाते हैं। असल में यहां तस्कर मादक पदार्थों की ब्रिक्री और अच्छे मुनाफे की कामना के साथ आते हैं। जब हर अमास्वस्या को दानपेटी खोली जाती है तो करोड़ों रुपए का चढ़ावा निकलता है। निकले2.66 करोड़ रुपए…
- चित्तौड़गढ़ जिले के डूंगला तहसील के मंडफिया में है सांवलिया सेठजी का मंदिर।
- यह भगवान कृष्ण का मंदिर है। यहां कई सालों से तस्कर अफीम चढ़ा रहे हैं।
- इस मंदिर के प्रति लोगों की इतनी श्रद्धा है कि कोई सोना तो कोई चांदी भी चढ़ाता है।
- इस मंदिर में तस्कर हर साल करोड़ो का अफीम चढाते हैं। इस मंदिर की यह मान्यता है कि जो तस्कर यहां पर अफीम चढ़ाते हैं, उन्हें तस्करी के धंधे में अच्छा मुनाफा होता है।
- इस मंदिर की दानपेटी हर अमावस्या को खोली जाती है। जब भी इस मंदिर की दानपेटी को खोला जाता है, उसमें से कैश और जेवरात के साथ बड़े पैमाने पर अफीम भी निकलती है।
मन्नत भी ऐसी कि सुनने वाले के होश उड़ जाएं
- ये तस्कर जिस तरह की मन्नत मांगते हैं, उसकी कल्पना आमतौर पर भगवान के मंदिर में तो कम से कम कोई नहीं करता।
- कहा जाता है कि ये तस्कर यहां अवैध अफीम की डिलीवरी के सकुशल पहुंचने की मन्‍नत मांगते हैं।
- यही नहीं उस मन्नत के पूरा होने पर 50 से 100 ग्राम अफीम की पुड़िया चढ़ाते हैं।
- इस बार जब इस मंदिर की दानपेटी को खोला गया तो कुल 2.66 करोड़ रुपए निकले हैं। इसमें 68.30 ग्राम गोल्ड, 3 किलो 85 किग्रा चांदी निकली है।
- चूंकि अफीम ब्लैक गोल्ड के नाम से जाना जाता है और सांवलिया सेठ खुद काले सोने के देवता है।
- तस्कर अपने धंधे के मुनाफे में से बकायदा सांवलिया सेठ का हिस्सा भी निकालते हैं।
- काफी चढ़ावा चढ़ने के चलते सांवलिया जी को सेठ जी के नाम से जाना जाने लगा है
 
चित्तौड़गढ़। राजस्थान के चित्तौड़गढ़ में एक ऐसा मंदिर है, जहां चढ़ावे में लड्‌डू या प्रसाद नहीं बल्कि अफीम आती है। यह अफीम कोई और नहीं, बल्कि तस्कर चढ़ाते हैं। असल में यहां तस्कर मादक पदार्थों की ब्रिक्री और अच्छे मुनाफे की कामना के साथ आते हैं। जब हर अमास्वस्या को दानपेटी खोली जाती है तो करोड़ों रुपए का चढ़ावा निकलता है। निकले2.66 करोड़ रुपए…
- चित्तौड़गढ़ जिले के डूंगला तहसील के मंडफिया में है सांवलिया सेठजी का मंदिर।
- यह भगवान कृष्ण का मंदिर है। यहां कई सालों से तस्कर अफीम चढ़ा रहे हैं।
- इस मंदिर के प्रति लोगों की इतनी श्रद्धा है कि कोई सोना तो कोई चांदी भी चढ़ाता है।
- इस मंदिर में तस्कर हर साल करोड़ो का अफीम चढाते हैं। इस मंदिर की यह मान्यता है कि जो तस्कर यहां पर अफीम चढ़ाते हैं, उन्हें तस्करी के धंधे में अच्छा मुनाफा होता है।
- इस मंदिर की दानपेटी हर अमावस्या को खोली जाती है। जब भी इस मंदिर की दानपेटी को खोला जाता है, उसमें से कैश और जेवरात के साथ बड़े पैमाने पर अफीम भी निकलती है।
मन्नत भी ऐसी कि सुनने वाले के होश उड़ जाएं
- ये तस्कर जिस तरह की मन्नत मांगते हैं, उसकी कल्पना आमतौर पर भगवान के मंदिर में तो कम से कम कोई नहीं करता।
- कहा जाता है कि ये तस्कर यहां अवैध अफीम की डिलीवरी के सकुशल पहुंचने की मन्‍नत मांगते हैं।
- यही नहीं उस मन्नत के पूरा होने पर 50 से 100 ग्राम अफीम की पुड़िया चढ़ाते हैं।
- इस बार जब इस मंदिर की दानपेटी को खोला गया तो कुल 2.66 करोड़ रुपए निकले हैं। इसमें 68.30 ग्राम गोल्ड, 3 किलो 85 किग्रा चांदी निकली है।
- चूंकि अफीम ब्लैक गोल्ड के नाम से जाना जाता है और सांवलिया सेठ खुद काले सोने के देवता है।
- तस्कर अपने धंधे के मुनाफे में से बकायदा सांवलिया सेठ का हिस्सा भी निकालते हैं।
- काफी चढ़ावा चढ़ने के चलते सांवलिया जी को सेठ जी के नाम से जाना जाने लगा है।

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